जितना दबाना है, दबा लो मुझको,
जितना हराना है, हरा लो मुझको,
जीत हार के पैमाने तुम्हारे होगें!
बीमारी तुम्हारी है, बीमार हम होगें,
जबतक गंगा उल्टी बहेंगी बहा लो उसको!
समय के तूफान में, किश्ती से उड़ जोओगे
हो अगर दम तुमें, तो आजमा लो मुझको,
'मान' सर कलम को तैयार बैठा है,
हो गर सच्चे तो हाथ में खन्जर उठालो यारों!
#AdvAnshuman
Tuesday, 31 January 2017
पैमाने तुम्हारे होगें!
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